Vaibhav Lakshmi Vrat Ki Vidhi: वैभव लक्ष्मी व्रत शुक्रवार को किया जाता है, शुक्रवार के दिन ही उपास रखा जाता है, मां वैभव लक्ष्मी के व्रत करने से परिवार में मां वैभव लक्ष्मी की कृपा बनी रहती है और धन धान्य में बरकत होती है। हिंदू धर्म में अलग- अलग व्रत और उनसे जुड़ी अलग- अलग कथाए है। माता लक्ष्मी को धन की देवी माना जाता है, तो चलिए जानते है मां वैभव लक्ष्मी व्रत करने के विधि और उस से जुड़ी कुछ बातो के बारे में किस तरह से व्रत करना चाहिए इसके क्या फ़ायदे है और व्रत करने से क्या लाभ होता है इन सभी चीज़ों के बारे में हम आपको बतायेगे।
कब शुरू करे मां वैभव लक्ष्मी के व्रत:
मां वैभव लक्ष्मी को प्रसन्न करने के लिए यह व्रत शुक्रवार को किया जाता है।हमारे हिंदू धर्म में शुक्रवार का दिन मां लक्ष्मी और शुक्र का दिन माना जाता है, इस दिन व्रत रखने से माता लक्ष्मी जल्दी खुश होकर अपना आशीर्वाद भगतों पर बना कर रखती है और उनको सुख और समृद्धि का आशीर्वाद देती है। चलिए जानते है मां वैभव लक्ष्मी व्रत में कौन सी सामग्री आवश्यक है।
वैभव लक्ष्मी व्रत में अवश्यक सामग्री और व्रत नियम:
वैभव लक्ष्मी व्रत आप अपनी श्रद्धाअनुसार 11 या 21 व्रत कर सकते है, यह व्रत आप किसी भी महीने के सुकलपक्ष के शुक्रवार से शुरू कर सकते है। वैभव लक्ष्मी व्रत में इन सभी सामग्री का होना आवश्यक है- फूल, धूप, कपूर, रोली, अक्षत, दूब, बतासे, लौंग, इलायची, पान, सुपारी, कलावा, मेहँदी, हल्दी, बिंदी, चूड़ी, लिपस्टिक, नैलपोलिश, सिंदूर, बिछिया, माता के वस्त्र, पंचमिठाई, पंच मेवा, पंचफल, पंचामृत आदि।
वैभव लक्ष्मी व्रत में माता के भोग में क्या बनाये:
आप माता लक्ष्मी के भोग में जो भी माँ को प्रिय है उसका भोग आप माता लक्ष्मी को लगा सकते है, माता लक्ष्मी को सबसे प्रिय है घर के शुद्ध घी में बनी मिठाई या फिर हलवा आप दोनों में से किसी का भी भोग मां को लगा सकते है, माता लक्ष्मी को चावल भी बहुत पसंद है आप खीर का भोग भी मां लक्ष्मी को लगा सकते है।
वैभव लक्ष्मी व्रत विधि:
- सबसे पहले उठ कर सूर्यउदय से पहले नहा धो कर नए वस्त्र धारण कर ले। उसके बाद एक चौकी तैयार करे उसको फूलो और गंगाजल से धो कर लाल कपड़ा बिछा कर चौकी को तैयार करे।
- उसके बाद माता लक्ष्मी की प्रतिमा को पंचामृत से नहला कर उनको वस्त्र पहना कर और उनको शृंगार अर्पित कर चौकी पर स्थापित करे, उसके बाद कुमकुम और सिंदूर माता को लगाये।
- उसके बाद माता के सामने दीप और धूप लगाये और माता लक्ष्मी को फूलो से बनी माला पहनाये। उसके बाद एक पान का पत्ता ले उसके ऊपर इलायची रख कर माता लक्ष्मी को अर्पित करे।
- मतव लक्ष्मी को सुगंध में केवड़ा और गुलाब के इत्र बहुत प्रिय है, और दीप के लिए मां लक्ष्मी को गाय का घी या मूँगफली का तेल अति प्रिय है इसका इस्तेमाल कर दीप जला सकते है।
- उसके बाद माता लक्ष्मी व्रत कथा को पढ़ना आरंभ करे और माता की आरती कर के पूजा को संपन्न करे।